रविवार का सदुपयोग – अंश- चौसठवाँ

 

रविवार का सदुपयोग 

 

साप्ताहिक सूक्ष्म ब्लॉग | संवाद से परिवर्तन का प्रयास 
 
अंश- चौसठवाँ
 
140 करोड़ भारतीयों की आज बस एक आवाज
 
|| विजयी भवः ||
 
आज का दिन समस्त देशवासियों और खेल प्रेमियों के लिए काफी उम्मीदों भरा दिन है। समर्पित, संकल्पित, अनुशासित एवं प्रतिभा संपन्न खिलाड़ियों से सजी भारतीय क्रिकेट टीम अपना अजेय अभियान जारी रखते हुए चौथी बार आईसीसी वनडे वर्ल्ड कप के फाइनल में पहुंच चुकी है। पूरे विश्व की निगाहें आज हम पर है। 140 करोड़ भारतवासियों की उम्मीदों और आकांक्षाओं को लिए आज भारतीय क्रिकेट टीम, आस्ट्रेलियाई टीम के साथ अपना फाइनल मुकाबला विश्व के सबसे बड़े क्रिकेट स्टेडियम “नरेंद्र मोदी क्रिकेट स्टेडियम” में खेलेगी। हम सभी की प्रभु से यही मंगलकामनाएं हैं कि आज भारत 1983 और 2011 के इतिहास को दुहराते हुए, पुनः विश्व कप अपने नाम करे।
 
भारत अब तक तीन बार अन्य देशों के साथ संयुक्त रूप से वनडे विश्व कप टूर्नामेंट की मेजबानी कर चुका है। विगत कुछ वर्षों में यशस्वी प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के कुशल नेतृत्व में पूरे देश में खेल इंफ्रास्ट्रक्चर के क्षेत्र में अभूतपूर्व विकास कार्य हुए हैं। जिसके परिणामस्वरूप यह पहला अवसर है जब पूरे विश्व कप टूर्नामेंट की मेजबानी का सुअवसर भारत को मिला है‌। भारतीय क्रिकेट टीम ने अपने वर्ल्ड क्लास परफॉर्मेंस से इस मेजबानी के अवसर को चार चांद लगा दिए हैं। 
 
वनडे विश्व कप टूर्नामेंट-2023 के प्रत्येक चरण में अजेय रही भारतीय क्रिकेट टीम ने अपने बेहतरीन प्रदर्शन के बदौलत हर टीम को धूल चटाई है। भारत अब विश्व कप जीतने से बस एक कदम दूर हैं। हमें आशा ही नहीं अपितु पूर्ण विश्वास है कि आज निश्चित रूप से हमारी भारतीय क्रिकेट टीम विश्व कप का खिताब जीतकर एक नया इतिहास रचेगी।
 
बचपन से ही खेल के प्रति मेरा विशेष जुड़ाव रहा है। समाजिक जीवन में प्रवेश लेने के बाद मैं हमेशा खेल और खिलाड़ियों के हर संभव प्रोत्साहन के लिए प्रयासरत रहता हूं। आप सभी के आशीर्वाद से मुझे नागौर जिला क्रिकेट एसोसिएशन के अध्यक्ष पद की भी जिम्मेदारी दी गई है। अध्यक्ष पद का रहते हुए मेरा हमेशा से यह प्रयास रहता है कि खेल प्रतिभा को बेहतर संसाधन और अवसर उपलब्ध कराया जाएग, ताकि संसाधनों के अभाव में क्षेत्र की खेल प्रतिभाएं पीछे न रह जाए। नागौर जिला क्रिकेट एसोसिएशन क्षेत्र की प्रतिभाओं को आगे लाने के लिए निरंतर प्रयासरत है।
 
आज क्रिकेट समेत विभिन्न खेलों में शीर्ष स्तर पर ऐसे कई खिलाड़ी हैं, जो देश के छोटे-छोटे सूदूर गांवों और कस्बों से आते हैं। लेकिन वे विपरीत परिस्थितियों में भी अपने दृढ़ निश्चय व मजबूत इच्छाशक्ति पर अटल रहे और अपने बेहतरीन खेल प्रदर्शन के बल पर देश-प्रदेश का नाम रौशन किया। इसी तरह मेरा भी हमेशा से प्रयास रहा है कि गांव और कस्बों की खेल प्रतिभाओं को उचित समय पर उचित अवसर दिया जा सके।
 
इसी क्रम में हमने क्रिकेट की युवा पीढ़ी को तैयार करने के लिए कई नवाचार भी किए हैं। जल्द ही खींवसर में अंतर्राष्ट्रीय स्तर की सुविधाओं से संपन्न क्रिकेट अकादमी बनकर तैयार हो जाएगी। अकादमी पूरी तरह से बनने के बाद इसे खिलाड़ियों को समर्पित किया जाएगा। यह अकादमी क्षेत्र की खेल प्रतिभाओं को सही दिशा में मार्गदर्शन देकर निखारने का कार्य करेगी। 
 
आने वाले दिनों में खेल प्रतिभाओं को निखारने के लिए कई अन्य नवाचार भी किए जाएंगे। हमारी संस्था “खींवसर फाउंडेशन” के अभिनव पहल “प्रोजेक्ट खेलो मारवाड़” के माध्यम से लगातार क्षेत्र की खेल प्रतिभाओं को प्रोत्साहन देने का प्रयास किया जाता है। इस प्रोजेक्ट के तहत क्रिकेट किट सहित अन्य खेलों से संबंधित खेल सामग्रियां प्रतिभाशाली खिलाड़ियों को उपलब्ध कराई गई हैं ताकि वे अपने खेल कौशल को निखार सकें। हमारे प्रयासों के कई सकारात्मक परिणाम भी सामने आए हैं। हमारा लक्ष्य है कि संसाधनों की कमी, खेल प्रतिभाओं के आगे बढ़ने के मार्ग में बाधक न बने। अपने इस लक्ष्य को पूरा करने के लिए हम निरंतर संकल्पित हैं।
 
अंत में मैं पुनः आज विश्व कप के फाइनल मुकाबले में भारत की जीत की कामना करता हूं। हमारी टीम का विजयी रथ निरंतर जारी रहे, समस्त देशवासियों की शुभकामनाएं भारतीय क्रिकेट टीम के साथ है। हर परिस्थिति में हम अपनी टीम के साथ मजबूती से खड़े हैं।
 
श्रीमद्भगवद्गीता के इस श्लोक के साथ मैं ब्लॉग का समापन कर रहा हूं…
 
“कर्मण्येवाधिकारस्ते मा फलेषु कदाचन।
मा कर्मफलहेतुर्भूर्मा ते सङ्गोऽस्त्वकर्मणि॥”
 
(श्रीमद्भगवद्गीता, अध्याय – 2, श्लोक – 47)
 
अर्थात् सफलता पाने का मूल मंत्र है पूरे सामर्थ्य से प्रयास करना, परिणाम तय करना हमारे बस में नहीं है लेकिन सही प्रयास सही परिणाम देता है।
 
अंत में आज कोई सवाल नहीं है आपसे सिर्फ एक निवेदन है की
 
• भारत आज अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन कर विश्व विजेता बने ऐसी प्रार्थना करें
 
हृदय की कलम से ! 
 
आपका 
 
– धनंजय सिंह खींवसर