रविवार का सदुपयोग – अंश : 120 वाँ


रविवार का सदुपयोग 

 
साप्ताहिक सूक्ष्म ब्लॉग | संवाद से परिवर्तन का प्रयास
 
अंश : 120 वाँ 
 
“राइजिंग राजस्थान: एक नई उड़ान”
विकास और समृद्धि का नवीन अध्याय
 
“विजय पथ पर बढ़ तू जीत अपनी निश्चित कर।
 दृढ़ निश्चय, साहस अदम्य साथ में लक्ष्य निर्धारित कर।”
 
राजस्थान के नव उत्थान की अध्याय है ‘राइजिंग राजस्थान’
 
हाल ही में संपन्न हुआ राइजिंग राजस्थान कार्यक्रम राजस्थान के विकास की एक नया अध्याय लिखने जा रहा है। देश में पहली बार यह अवसर आया है कि किसी राज्य सरकार ने अपनी सरकार गठन के पहले ही साल में निवेशकों को आकर्षित करने के लिए इतने बड़े स्तर पर कार्यक्रम का न केवल आयोजन किया बल्कि इस कार्यक्रम के दौरान हुए सभी एमओयू को धरातल पर उतारने के लिए कार्य योजना भी तैयार कर दी गई है। 
 
आज से बराबर 1 वर्ष पहले प्रदेश में माननीय मुख्यमंत्री श्री भजनलाल शर्मा जी के नेतृत्व में भारतीय जनता पार्टी की सरकार बनी थी। सरकार गठन के साथ ही मुख्यमंत्री जी ने अपनी सरकार का विजन जनता के सामने रखा और कहा कि माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी ने 2047 में भारत को विकसित राष्ट्र बनाने का संकल्प लिया है और इस संकल्प की अनुपालना हेतु विकसित राजस्थान बनाने की दिशा में कार्य करेंगे। राजस्थान विकसित भारत का ग्रोथ इंजन बने और 2047 में अग्रणी स्थान पर खड़ा हो इसके लिए हमारी सरकार पूरी दृढ़ता के साथ कार्य करेगी।
 
लोकसभा चुनाव और उपचुनाव की समयावधि में लगी आचार संहिता के समय को हटा दिया जाए तो सरकार ने महज 5 महीने के कार्यकाल में जिस भव्य स्तर पर राइजिंग राजस्थान कार्यक्रम आयोजित किया है, उससे पूरा देश आज राजस्थान की तरफ देख रहा है। देश के बड़े-बड़े अर्थशास्त्री भी राइजिंग राजस्थान में हुए इतने बड़े निवेश को लेकर आश्चर्यचकित हैं और हर कोई सरकार की संकल्पबद्धता की सराहना कर रहा है।
 
गुलाबी नगरी जयपुर में आयोजित हुए राइजिंग राजस्थान में 32 देश के प्रतिनिधियों ने अपनी भागीदारी सुनिश्चित की। इस आयोजन में लगभग 34 हजार करोड रुपए से अधिक निवेश के एमओयू साइन किए हैं। यह एमओयू की दृष्टि से अब तक का यह सबसे बड़ा ग्लोबल सबमिट था। राजस्थान सरकार ने पहले ही वर्ष में इतना बड़ा ग्लोबल सबमिट कर पूरे प्रदेश के सामने अपना विजन रखने का काम किया है। 
 
राइजिंग राजस्थान समिट के बाद अब सरकार ने इन एमओयू को धरातल पर उतारने के लिए विस्तृत कार्य योजना तैयार की है और 11 आईएएस अधिकारियों की एक समिति बनाकर इन एमओयू को धरातल पर उतारने के लिए आवश्यक कदम उठाने के निर्देश दिए हैं। यह समिति एमओयू करने वाले निवेशकों के साथ व्यक्तिगत संपर्क कर निवेश में आने वाली प्रत्येक समस्या के समाधान की दिशा में काम करेगी। जिन समस्याओं का समाधान जिला स्तर पर हो सकता है उन्हें उस स्तर पर निस्तारित किया जाएगा और जिन प्रकरणों का निस्तारण राज्य या केंद्र स्तर पर होना है, उन समस्याओं के निस्तारण के लिए राजस्थान सरकार तत्परता से काम करेगी।
 
हम सभी राजस्थानवासियों के लिए यह गौरव का विषय है कि अब प्रतिवर्ष 10 दिसंबर को प्रवासी दिवस के रूप में मनाया जाएगा। प्रतिवर्ष इस दिन प्रदेश के सभी प्रवासी एकत्रित होंगे, जहां राज्य सरकार की ओर से राजस्थान में निवेश करने के लिए प्रोत्साहित किया जाएगा और उनके समक्ष आने वाली विभिन्न समस्याओं में चुनौतियों पर भी विस्तार से चर्चा होगी। सरकार ने अलग से प्रवासी विभाग भी खोलने की अनुमति दी है और यह विभाग प्रवासियों के लिए कार्य करेगा।
 
इतना ही नहीं राइजिंग राजस्थान से पूर्व राजस्थान सरकार ने विभिन्न क्षेत्रों में अपनी 9 नीतियां भी लागू की है। ये सभी नीतियां राजस्थान प्रदेश की नवनिर्माण में अपनी अहम भागीदारी निभाने वाली है। राजस्थान सरकार की ओर नई नीतियां लागू करने के बाद जिस तरह से राइजिंग राजस्थान का सफल आयोजन हुआ है, उससे पूरे प्रदेश में एक नए औद्योगिक माहौल बना है और अब हर कोई राजस्थान की तरफ आकर्षित हो रहा है। आज हर निवेशक यहां निवेश करने में भी अपनी सकारात्मक रुचि दिखा रहा है।
 
राज्य में निवेश को आकर्षित करने और अर्थव्यवस्था को मज़बूत करने के लिए नौ नई नीतियां लाई गई हैं। जिसमें लघु उद्योगों को बढ़ावा देने के लिए एमएसएमई नीति : 2024, वैश्विक बाजार तक पहुंच बनाने के लिए निर्यात संवर्द्धन नीति 2024, छोटे छोटे कारीगरों की आय वृद्धि के लिए एक जिला-एक उत्पाद (ODOP) नीति, हस्तशिल्प और एमएसएमई क्षेत्र के लिए सहायक,क्लस्टर विकास योजना, एनीमेशन, विजुअल इफेक्ट्स, गेमिंग, कॉमिक्स और एक्सटेंडेड रिएलिटी के क्षेत्र में राजस्थान को अग्रणी बनाने के उद्देश्य से AVGC & XR नीति-2024, रोजगार सृजन एवं पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए नई पर्यटन इकाई नीति 2024, ऊर्जा के क्षेत्र में राजस्थान को आत्मनिर्भर बनाने और हरित ऊर्जा के विस्तार के लिए एकीकृत स्वच्छ ऊर्जा नीति 2024, रोजगार और राजस्व वृद्धि के लक्ष्य के लिए नवीन खनिज नीति 2024 एवं बजरी के स्थान पर एम-सेण्ड के उपयोग को बढ़ावा देने के लिए राजस्थान एम-सेण्ड नीति-2024 लागू की गई है। इससे प्रदेश में एम-सेण्ड के उपयोग व पर्यावरण संरक्षण को बढ़ावा मिलेगा और निर्माण लागत में कमी आएगी
 
राइजिंग राजस्थान के जरिए निश्चित रूप से राजस्थान में एक नई उम्मीद की किरण जगी है और निश्चित रूप से युवाओं के सपनों को भी पंख लगने वाले हैं। हालांकि पहले भी राजस्थान में इस तरह के ग्लोबल समिट होते रहे हैं, लेकिन हर सरकार अपने कार्यकाल के अंतिम चरण में इस तरह के आयोजन करती थी, जिसके चलते इन आयोजनों में होने वाले एमओयू धरातल पर नहीं उतर पाए थे, लेकिन पिछली ग्लोबल समिट की असफलताओं को देखते हुए इस बार मुख्यमंत्री श्री भजनलाल शर्मा ने अपनी सरकार के पहले ही वर्ष में राइजिंग राजस्थान का आयोजन कर यह प्रयास किया है कि आने वाले 4 वर्षों में इन सभी एमओयू को धरातल पर लाकर राजस्थान को विकसित राज्य बनाने का संकल्प पूरा किया जाएगा।
 
– क्या आप मानते हैं राइजिंग राजस्थान समिट का आयोजन राजस्थान के सर्वांगीण विकास की दिशा में एक मजबूत कदम है?
 
– क्या ‘राइजिंग राजस्थान’ में लिए गए निर्णय माननीय मुख्यमंत्री श्री भजनलाल शर्मा जी के नेतृत्व वाली भाजपा सरकार द्वारा राजस्थान के विकास के लक्ष्य की सकारात्मक अभिव्यक्ति है?
 
जय हिंद
 
हृदय की कलम से
 
आपका 
धनंजय सिंह खींवसर